सोमवार, 5 नवंबर 2012

Neeyati Shah - अगर मैं भारत जाऊं...

अगर मैं भारत जाऊं मैं अपना परिवार को मिलने जाऊं. मेरे पिता जी का परिवार मुम्बाइ में रहते हैं. उनके साथ मैं शहर में घूमूं और खरीददारी करू.  मुझे भारतीय कपडे पसंद हैं. मुम्बाइ में मैं कुछ साड़ियाँ और चूड़ियां खरीदूं. फिर मैं बाहर सड़क से कुछ खाना खरीदूं. मुझे पानी-पूरी बहुत पसंद है. रात को मैं अपने परिवार के साथ जुहू जाऊं. वहां फ़ेरिस झूला पर जाऊं और आम की लस्सी पीयूं. 

फिर मैं अहमदाबाद जाऊं, क्योकिं अपनी माँ के परिवार वहां रहते हैं. मेरी मौसियाँ और मौसेरे भाई-बहन के साथ रहूँ और स्कूटर पर चलाऊँ. मुझे बाहर गर्मी में स्कूटर पर जल्दी चलाना बहुत मजेदार लगता है. अहमदाबाद में बहुत जगह देखने लायक हैं. उदाहरणार्थ, मैं चाहती हूँ की अपने भतीजा-भतीजी लेकर कमला नेहरू चिड़ियाघर जाऊं. मैंने सुना की वह बहुत अच्छा है. 

मेरे परिवार को मिलने के बाद मैं पर्यटन करू. मैं ग्यारह साल पहले भारत गयी और मैंने बहुत देखि, लेकिन मुझे बहुत याद नहीं. मैं एक बार और ताज महल देखूं और अधिक तस्वीर खींचूं. लाल किलो, इंडिया गैट, और लोटस महल भी देखूं. फिर मैं आबू जाना चाहती हूँ क्योकिं मेरे माता-पिता वहां गये अपना शादी के बाद. उन्होने मुझे कहा कि आबू बहुत सुंदर है. मैं शाम को घोड़ा पर चढ़कर पहाड़ की चोटी से सूर्यास्त देखूं.    

मैं भारत में बहुत करना और देखना चाहती हूँ. मैं बहुत समय से वहां नहीं गयी तो अगर मैं जा सकूं, मैं कई हफ्ते के लिए दृश्यावलोकन करू.  

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